भारत में स्वंयसेवी संस्थाएं सामाजिक विकास के कार्य बड़ी तत्परता से कर रहे हैं | आज के परिपेक्ष में अगर इन संस्थाओं को सफल होना है तो यह आवश्यक है कि उन्हें अपनी कार्यशैली को पेशेवर बनाना पड़ेगा और इस पर विश्व स्तर के मापदंडों पर खरा उतरना होगा | इस संधर्भ में पेशेवर तरीकों की भाषा को समझना व उसे अपनाना बहुत महत्वपूर्ण होगा |
इस चुनौती का सामना करने के लिए, रामभाऊ म्हाल्गी प्रबोधिनी ने “Branding and Communication for NGOs” के अति महत्वपूर्ण विषय पर स्वंयसेवी संस्थाओं के लिए यह विशेष प्रशिक्षण मॉड्यूल बनाया है | इसके द्वारा स्वंयसेवी संस्थाओ को ब्रांडिंग की दुनिया के बारे में जानकारी देने का प्रयास किया जायेगा , और संस्थाओं को यह भी प्रशिक्षण मिलेगा जिससे वे अपनी एक अलग व अनूठी पहचान बनाने में सक्षम होंगे, और अपने कार्यों को ठीक से समझाकर उनके लिए धन की व्यवस्था भी बेहतर ढंग से कर पायेंगे |
इस कार्यक्रम का उद्देश्य स्वंयसेवी संस्थाओ को Branding andCommunication विषय से अवगत कराना ताकि वे इसे अपने कार्यक्षेत्र में लाभकारी और प्रभावी रूप से लागू कर पायें|
Key Takeaways:
Branding & Communications
- Key Concepts
- Effective Use
- Advantages of Branding
- Case Studies
Who can attend
- Officials of NGOs
- Individuals working in Development Sector
- NGO/CSR Consultants
- Socially Active Individuals
- Volunteers
Programme Dates: 18-19 December 2020
Session Plan: 2 days with 2 classes a day
Session 1 – 11.00 am – 12.00 pm
Session 2 – 04:00 pm – 05.00 pm
Batch Size
30
Medium:
Hindi and English
Fee Details
₹ 700 (inclusive of taxes)
Sorry, but this form is no longer accepting submissions.
Programme Coordinator(s)
For any query on this course please contact
Shailesh Gokhale, 88509 16817, shaileshg@rmponweb.org